ओ.पी. पाल
राष्ट्रमंडल खेलों में हिस्सा लेने दिल्ली खेलगांव में रूके हरेक विदेशी खिलाड़ी की आंखों में ताजमहल देखने का ख्वाब तैर रहा है, वहीं कुछ खिलाड़ी राजस्थान की संस्कृति के दीवाने हैं। खिलाड़ियों के इन सपनों को पूरा करने के लिए रेलवे ने जिम्मा थाम लिया है, जिनके लिए कॉमनवेल्थ एक्सप्रेस
राष्ट्रमंडल के खेलगांव में रह रहे खिलाड़ियों का अभ्यास के बाद बचा समय अभी तक तो भारतीय व्यंजनों का स्वाद चखने और दिल्ली के बाजारों में गहनों की खरीदारी में खर्च हो रहा है, लेकिन ज्यादातर विदेशी खिलाड़ियों की आंखो में आगरा का ताजमहल देखने का ख्वाब तैर रहा है, जिसके लिए भारतीय रेलवे ने खास इंतजाम किये हैँ। जो खिलाड़ी राजस्थान जाने के इच्छुक है उनकी इच्छा भी आयोजक पूरी करने की सभी तैयारियों को अंजाम दे चुके हैँ। हालांकि सबसे बड़ा ध्यान खिलाड़ियों की सुरक्षा पर लगाया गया है। विदेशी खिलाड़ियों को दिल्ली के बाजारों में बिकती हाथ की बनी अनोखी चीजें खूब लुभा रही हैं। रंग बिरंगे पर्स, छोटे बड़े थैले, अंगूठी, माला और दूसरे गहने, हाथ की कढ़ाई वाले टॉप, टीशर्ट और मफलर, टोपियां. हर खिलाड़ी इन चीजों को अपने साथ भारत की यादों के रुप में समेट कर ले जाने को बेताब है। विदेशियों में चूड़ियों की तो इतनी मांग है कि बेचने वाले को बार बार चीजें मंगानी पड़ रही हैं। खिलाड़ी अपने परिवार, दोस्तों और रिश्तेदारों के लिए भी खूब खरीदारी कर रहे हैं। देखने में आया है कि अभ्यास का सत्र खत्म होते ही खिलाड़ी दिल्ली के बाजारों की सैर पर निकल पड़ते हैं। दिल्ली की ऐतिहासिक इमारतों में छिपी कहानियां ढूंढते इन विदेशी खिलाड़ियों की आंखों में एक बार ताजमहल देखने का भी सपना है। कुक आईलैंड की नेटबॉल खिलाड़ी नियोलीन का कहना है कि वह दिल्ली के बाजारों में खूब घूमेंगी, लेकिन ताजमहल देखे बिना स्वदेश लौटना नहीं चाहेगी, जो उसका खेलों में शानदार प्रदर्शन के साथ एक सपना है। गेम्स ट्रैवल आॅफिस में काम करने वाले एक अधिकारी कहते हैं कि उनके पास सबसे ज्यादा ताजमहल देखने के लिए ही अनुरोध रहे हैं। जानकारी जुटाने वाले 100 लोगों में 90 लोग ताजमहल के बारे में पूछ रहे हैं। हालांकि महल और झीलों को देखने जयपुर जाने की ख्वाहिश रखने भी कम नहीं हैं। खेलगांव में ठहरे विदेशी खिलाड़ी निकट ही सटे दिल्ली के अक्षरधाम मंदिर का अवलोकन करके अपने आपको आनंदित भी महसूस कर रहे हैं। आयोजन समिति ने एथलीटों के आगरा दौर के लिए ट्रेनों में खास इंतजाम किए हैं। वहीं सड़क और वायु मार्ग से जाने के भी पक्के इंतजाम पुख्ता हैं। वैसे तो खिलाड़ियों खेलगांव में बना बाजार भी खूब पसंद आ रहा है। कोई सैलून में जाकर मनचाहे बाल बनवा रहा है तो कोई बार और आइसक्रीम पार्लर का लुत्फ उठाने में गुम है। उधर विदेशी खिलाड़ियों की ताजमहल देखने की ख्वाइश पूरी करने के लिए भारतीय रेल ने कमर कसी हुई है और इस बात को ध्यान में रखते हुए एक विशेष रेलगाड़ी का इंतजाम किया है। कॉमनवेल्थ ताज एक्सप्रेस नाम की इस ट्रेन में 11 बोगियां लगी हैं जो बेहद खूबसूरती से सजाई गई हैं। मंडल रेल प्रबंधक उत्तर रेलवे अश्विनी लोहानी ने बताया कि भारत आने वाले ज्यादातर विदेशी ताजमहल देखने आगरा जाते हैं और इसी के मद्देनजर भारतीय रेल ने एक विशेष ट्रेन चलाई है। यह ट्रेन विदेशियों को निर्बाध रूप से आगरा ले जाएगी और फिर उन्हें वापस दिल्ली लेकर आएगी। लोहानी ने बताया कि इस ट्रेन में कुल 11 बोगियां लगी हैं और इसमें फरार्टेदार अंग्रेजी बोलने वाले टीटी तैनात किए गए हैं। इन टीटी की वेशभूषा भी अत्यंत शानदार है। ड्रेस काले रंग की जाय नेवी ब्लू रंग की होगी । पेंट का रंग नीला होगा और सफेद कमीज के साथ नीली टाई पर राष्ट्रमंडल खेलों का लोगो लगा होच्गा। उन्होंने बताया कि विदेशियों को भाषा के चलते कोई बाधा न हो इसलिए इसमें अच्छी तरह अंग्रेजी में बात कर सकने वाला स्टाफ तैनात किया गया है।
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