शनिवार, 30 अक्तूबर 2010

भारत को शीर्ष पर लाने को तैयार एथलीट

ओ.पी. पाल
राष्ट्रमंडल खेलों में भारतीय निशानेबाजों, पहलवानों और भारोत्तोलकों ने अपने शानदार प्रदर्शन से देश को पदक तालिका में दूसरे स्थान पर विराजमान कर दिया है और अब भारत के एथलीट भी इस बार इन खेलों में अपना हुनर दिखाने को पूरी तरह से तैयार हैं। भारतीय एथेलिटों का मकसद है कि पदक तालिका में भारत को शीर्ष पर पहुँचाया जाये।
भारतीय एथलेटिक्स महासंघ के अध्यक्ष ललित भनोट का दावा है कि भारतीय एथलीटों ने राष्ट्रमंडल खेलों में इतिहास में एक स्वर्ण पदक मिलाकर अब तक नौ पदकों पर अपना कब्जा किया है लेकिन भारतीय एथलीट 19वें राष्ट्रमंडल खेलों में कम से कम छह पदक जरूर जीतेंगे। उन्होंने कहा कि इस बार हमारे पास राष्ट्रमंडल खेलों के इतिहास में सबसे अधिक पदक जीतने का मौका है। हालांकि एथलेटिक्स में ब्रिटेन, आस्ट्रेलिया, कनाडा, जमैका, केन्या और कनाडा जैसे देशों के एथलीट हिस्सा ले रहे हैं इसलिए मुकाबला कड़ा होगा. लेकिन हम इस खेलों में छह से आठ पदक जीत सकते हैं। भनोट ने कहा कि वर्ष 2006 में हुई मेलबोर्न राष्ट्रमंडल खेलों में हमने दो रजत पदक जीते थे लेकिन इस बार हम उम्मीद कर रहे हैं कि हम एथलेटिक्स में बेहतरीन प्रदर्शन करने वाले देशों में शामिल होंगे। भारत ने एथलेटिक्स में राष्ट्रमंडल खेलों की अपेक्षा एशियाई खेलों में ज्यादा अच्छा प्रदर्शन किया है। उड़न सिख मिल्खा सिंह एकमात्र ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्होंने राष्ट्रमंडल खेलों में एथलेटिक्स का स्वर्ण जीता है। उन्होंने वेल्स में वर्ष 1958 में देश को पहला स्वर्ण पदक दिलाया था। इस बार एथलीट अपने घरेलू मैदानों पर खेल रहे हैं इसका उन्हें फायदा मिल सकता है। हालांकि पदकों की संख्या इस बात पर निर्भर करती है कि एथलीट अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन दे पाते हैं या नहीं।
एथलेटिक्स में पुरूष शॉट पुट, पुरुष चक्का फेंक, महिला चक्का फेंक और चार गुणा 400 महिला रिले प्रतियोगिताओं में भाग लेने वाले भारतीय एथलीट राष्ट्रमंडल खेलों में भाग ले रहे एथलीटों में शीर्ष पांच में शुमार हैं। महिला चक्का फेंक में भाग लेने वाली एथलीट कृष्णा पूनिया और हरवंत कौर
शीर्ष पांच एथलीटों में शामिल हैं जबकि एक अन्य एथलीट राष्ट्रीय रिकॉर्डधारी सीमा अंतिल छठे स्थान पर है। भारत को महिला चक्का फेंक में दो पदकों की उम्मीद है। इसके अलावा महिला 800 मीटर दौड की एथलीट टिंटू लुका ने भी पिछले कुछ महीनों में अपने प्रदर्शन में जबरदस्त सुधार किया है और उन्होंने 15 वर्षीय राष्ट्रीय रिकॉर्डधारी शिनी विल्सन का 1.59.85 का रिकॉर्ड तोड़कर 1.59.17 में दौड़ पूरी कर वीटीबी बैक कोन्टिनेंटल कप जीता है। लुका इस बार राष्ट्रमंडल खेलों में छह शीर्ष एथलीटों में शामिल हैं। हालांकि पी टी ऊषा की शिष्या लुका के लिए पदक जीतना इतना आसान नहीं होगा। उनका मुकाबला पेइचिंग ओलंपिक पदक विजेता केन्या की नैन्सी जेबेट लागट 1.57.75. केन्या की ही एक अन्य एथलीट जानीथ जेप्कोस्गेई 1.57.84. और जमैका की सिन्क्लेयर 1.58.16. जैसी एथलीटों से होगा। इसलिए 800 मीटर महिला दौड़ में पदक जीतने के लिए कड़ा मुकाबला होगा। भारत को उम्मीद है कि एथलीट शानदार प्रदर्शन करेंगे।

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